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दिल्ली पब्लिक स्कूल (DPS) ने ‘चार सौ रुपये मॉस्क’ वाली तस्वीरों को बताया फर्जी

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भारत में जबसे कोविड-19 के कारण जारी लॉकडाउन की उल्टी गिनती शुरू हुई है और अनलॉक-1 की शुरूआत हुई है, पूरे देश में स्कूलों के फिर से खुलने की चर्चा शुरू हो गई है। इसी सिलसिले में 6 जून 2020 को ह्वाट्सऐप ग्रुप, फेसबुक और ट्विटर पर यह मैसेज एक मास्क के चित्र के साथ तैरने लगा जिसके ऊपर डीपीएस या दिल्ली पब्लिक स्कूल का लोगो बना हुआ था, इसके नीचे इसकी कीमत लिखी हुई थी कि यह मास्क डीपीएस द्वारा 400 रुपये में बेचा जा रहा है।

हालांकि इस तरह की शेयरिंग में ध्यान देने वाली बात है कि मास्क की कोई रसीद नहीं शेयर की गई है जिससे इस तथ्य की पुष्टि हो सके कि यह मास्क डीपीएस की किसी ब्रांच द्वारा अभिभावकों को खरीदने के लिए कहा जा रहा है ताकि बच्चे स्कूल आने वाली स्थिति में मास्क का इस्तेमाल कर सकें।

विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्लूएचओ) ने कोविड-19 से बचाव के तरीकों में मास्क का इस्तेमाल करने को अनिवार्य बनाने वाली कोई सलाह नहीं दी है। हालांकि, ये जरूर कहा कि अगर आप संक्रमित हैं तो दूसरों को लोगों को संक्रमण से बचाने के लिए मास्क का इस्तेमाल घर से बाहर निकलते समय जरूर करें।

विभिन्न डीपीएस से आ रहे बयान बता रहे हैं तस्वीरों को ‘फर्जी’

इस ख़बर के मुख्य सोर्स तक पहुंचने की कोशिश में पता चला कि इस तरह का मैसेज किस डीपीएस द्वारा जारी किया गया है, यह पता नहीं चल पा रहा है। पूरे देश में दिल्ली पब्लिक स्कूल (डीपीएस) की 250 से ज्यादा डीपीएस हैं। यह हो सकता है कि किसी डीपीएस ने बच्चों के मास्क को लेकर एकरूपता को ध्यान में रखते हुए इस तरह की पहल की हो ताकि कोई बच्चा हल्का या कोई बच्चा डिजाइनर मास्क न पहनकर आए। मास्क की गुणवत्ता भी एक जैसी हो ताकि संक्रमण का खतरा न बढ़े। लेकिन जो तस्वीरें शेयर हो रही हैं, उसमें मास्क के साथ में किसी तरह की कोई रसीद न शेयर करना एक संदेह पैदा करता है। डीपीएस के प्रधानाध्यापकों व शिक्षकों के लिए यह स्थिति असहज करने वाली है। ऐसी स्थिति के कारण बच्चों का अपने स्कूल के प्रति आदर कम हो रहा है, यह बात अभिभावकों को भी समझनी चाहिए।

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इस तस्वीर को विभिन्न डीपीएस की तरफ से जारी होने वाले बयान में फर्जी बताया गया है।

डीपीएस भोपाल की तरफ से जारी एक पत्र में कहा गया है, “प्रिय अभिभावक और शुभ आकांक्षी, दिल्ली पब्लिक स्कूल भोपाल विभिन्न सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर साझा हो रही ‘फेस मास्क’ की तस्वीरों से खुद को पूरी तरह अलग करता है। इस तरह का काम डीपीएस की छवि को जानबूझकर धूमिल करने के लिए किया गया भी हो सकता है। इस आशय की ख़बरें और फोटो फर्जी हैं, हम आपसे अनुरोध करते हैं कि उनके ऊपर भरोसा न करें। – प्रधानाध्यापक, डीपीएस भोपाल।”

Dear Parents and well wishers.
Delhi Public school Bhopal strongly disassociates with the image of “Face Mask” with the name and Logo of DPS or Delhi Public School, doing rounds in Social Media at various platforms . This seems to be an act by some miscreants to deliberately harm the reputation of DPS
The news and photo is fake. we request you not to believe any such posts .
Regards.
PRINCIPAL
DPS Bhopal

इस ख़बर में संदर्भ में यह भी कहना जरूरी है कि भविष्य में जब भी स्कूल खुलेंगे। स्कूलों को सैनेटाइज़ करना होगा। पीपीई किट की जरूरत वहाँ भी होगी। अल्कोहल बेस्ड हैंड सैनेटाइज़र चाहिए होंगी ताकि स्कूल में उनका इस्तेमाल हो सके। साबुन की भी व्यवस्था करनी होगी ताकि बार-बार हाथ धोने वाली सावधानी बरती जा सके। इसके साथ ही साथ सभी बच्चों के लिए मास्क की उपलब्धता और सोशल डिस्टेंसिंग का सवाल सरकारी और निजी सभी तरह के स्कूलों को हल करना ही होगा। इससे कोई बचाव नहीं है। जो समय स्कूल खुलने से पहले हमारे पास उपलब्ध है, उसका इस्तेमाल ऐसी तैयारियों में लगाया जाना चाहिए ताकि हम चुनौतियों का सामना करने के लिए ज्यादा बेहतर स्थिति में रहें।

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