हर साल प्राथमिक स्कूल में पढ़ाने वाले शिक्षकों को स्कूल में 'नामांकन का एक लक्ष्य' दिया जाता है। इसे पूरा करने के लिए कम उम्र के बच्चों का भी प्रवेश पहली कक्षा में कर लिया जाता है। [...]
स्कूलों की वास्तविक समस्याओं का हल नवाचार के नाम से प्रचारित होने वाले पुराने विचारों में नहीं है। ऐसे में जरूरत है कि कि हर स्कूल की अपनी जरूरत को ध्यान में रखते हुए समाधान खोजने की कोशिश की जाये। [...]
तीन कक्षाओं को हिंदी पढ़ाने के लिए एक शिक्षक को मात्र एक कालांश मिला है क्योंकि आठवीं तक के इस विद्यालय में मात्र पाँच शिक्षक हैं। मगर इनकी सोच और काम करने का नज़रिया काबिल-ए-तारीफ़ है। पढ़िए पूरी कहानी इस पोस्ट में। [...]
फ़िनलैंड में शिक्षा व्यवस्था की सफलता दुनिया के विभिन्न देशों के लिए एक रहस्य है। 21वीं शताब्दी की तैयारी के मद्देनज़र फ़िनलैंड अब सबजेक्ट आधारित पढ़ाई की जगह टॉपिक पर आधारित पढ़ाई को वरीयता दी जाएगी। [...]
21वीं सदी में भारत की प्राथमिक शिक्षा नीतिगत बदलाव के दौर से गुजर रही है. इस नीतिगत बदलाव की कहानी को आगे बढ़ाने के लिए अनेक कार्यक्रम बनाए जा रहे हैं. कार्यक्रमों को सफल बनाने के लिए रणनीतियों की शृंखला बनाई जा रही है. इस सभी का उद्देश्य एक है कि शिक्षा के क्षेत्र में सीखने के संकट (लर्निंग क्राइसिस) का समाधान कैसे खोजा जाए? [...]
यूनेस्को ने वैश्विक शिक्षा को लेकर ताजा रिपोर्ट के अनुसार भारत में प्राथमिक स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चे बुनियादी शिक्षा से वंचित हैं.जानिए रिपोर्ट समस्याओं के समाधान का क्या रास्ता सुझाती है. [...]
भारत में पूर्व-प्राथमिक शिक्षा की स्थिति आगे की असमानताओं के लिए काफी हद तक जिम्मेदार हैं। आखिर आंगनबाड़ी केंद्रों को पर्याप्त महत्व क्यों नहीं दिया जा रहा है। [...]